किस्से ... ( कुछ अधूरे कुछ पूरे) कहानी सुननी है... किसकी..? में तो किस्से सुनता हूँ, तो बताओ किस्से सुनोगे...? मेरे, तुम्हारे, हमारे या दूसरो के या किसी तीसरे किस्से तुम सुनोगे।। मेरी गर्लफ्रैंड, तुम्हारी गर्लफ्रैंड या किसी तीसरे की गर्लफ्रैंड के या गर्लफ्रैंड से हुई रातो को उन खूबशूरत बातो के किस्से तुम सुनोगे।। अरे चलो शुरू से शुरू करते है।। बचपन में किए उन सच्चे झूठे वादों के जो अक्सर अधूरे रह गए या स्कूल ग्राउंड में हुए उन झगड़ो के यादो के किस्से तुम सुनोगे।। क्लास में पीछे बैठ कर आगे बैठी अपनी क्रश के यूं ही पलट कर टकराती हुई नजरों के किस्से तुम सुनोगे।। एग्जाम में चीटिंग करते हुए पकड़े जाने के या स्कूल की वो आखरी शाम जब तुम रोना तो चाहते थे लेकिन फिर मिलगे का वादा कर रो नही प...
DESTINATION 25, december शाम के 5 बज रहे थे, और प्रतीक अपने कमरे में तैयार हो रहा है कहाँ के लिए तैयार हो रहा है?" कमरे के अंदर आकर शान पूछता है। "ओपन माइक है, तो वही जा रहा हूं तुमको चलना है, तुम भी चलो।" प्रतीक ने जवाब देते हुए कहा। "तुम हो कर आओ, मैं चला अपने दोस्तों से मिलने।" यह कहकर शान कमरे से बाहर निकल गया। Open mic की शाम खत्म हुई और प्रतीक open mic मे बचे कुछ आखरी लोगो के साथ चाय पीने दुकान पर चला गया और वहां से जब घर वापसी के...